मालदीव में भारतीय सैन्य मंचों के निरंतर उपयोग के लिए ‘व्यावहारिक समाधान’ पर चर्चा करेंगे दोनों देश
नई दिल्ली:
भारत और मालदीव शनिवार को द्वीप राष्ट्र द्वारा भारतीय सैन्य मंचों का उपयोग जारी रखे जाने के लिए “व्यावहारिक समाधान” पर चर्चा करने पर सहमत हुए क्योंकि ऐसा सहयोग मालदीव के लोगों के हितों के अनुकूल है. माले में केंद्रीय मंत्री किरेन रीजीजू और मालदीव के नए राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के बीच बैठक के बाद सूत्रों ने यह बात कही. मालदीव के नेता के शपथ ग्रहण समारोह में भाग लेने के एक दिन बाद रीजीजू ने मुइज्जू से उनके कार्यालय में मुलाकात की. मुइज्जू को व्यापक रूप से चीन समर्थक नेता के रूप में देखा जाता है.
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मुइज्जू के कार्यालय द्वारा जारी एक बयान में कहा गया कि राष्ट्रपति ने बैठक में “भारत सरकार से मालदीव से अपने सैन्यकर्मियों को वापस बुलाने का औपचारिक अनुरोध किया.” मुइज्जू ने कहा कि वह भारतीय सैन्यकर्मियों को देश से बाहर निकालने का अपना चुनावी वादा निभाएंगे. बयान में कहा गया, “बैठक में, राष्ट्रपति मुइज्जू ने औपचारिक रूप से भारत सरकार से मालदीव से अपने सैन्यकर्मियों को हटाने का अनुरोध किया.”
इसमें कहा गया, “राष्ट्रपति ने कहा कि सितंबर में हुए राष्ट्रपति चुनाव में मालदीव के लोगों ने इस संबंध में उन्हें भारत से अनुरोध करने के लिए मजबूत जनादेश दिया था और उम्मीद जताई कि भारत मालदीव के लोगों की लोकतांत्रिक इच्छा का सम्मान करेगा.”
भारत सरकार के सूत्रों ने कहा कि बैठक में मुइज्जू ने चिकित्सा स्थिति में मरीजों को ले जाने तथा मादक पदार्थों की तस्करी पर लगाम लगाने के लिए मालदीव में विमान संचालन के वास्ते तैनात भारतीय सैन्यकर्मियों की मौजूदगी का मुद्दा उठाया. उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति ने मालदीव के नागरिकों की चिकित्सा निकासी के लिए भारतीय हेलीकॉप्टरों और विमानों के योगदान को स्वीकार किया.
बयान में कहा गया, “इस बात पर सहमति हुई कि दोनों सरकार इन मंचों के उपयोग के माध्यम से निरंतर सहयोग के लिए व्यावहारिक समाधानों पर चर्चा करेंगी क्योंकि यह मालदीव के लोगों के हितों की पूर्ति करता है.” संयोग से, भारत द्वारा मालदीव को दिए गए डोर्नियर विमान का शनिवार को 36 वर्षीय एक महिला को उपचार के वास्ते अस्पताल पहुंचाने के लिए इस्तेमाल किया गया. विमान का संचालन मालदीव राष्ट्रीय रक्षा बल (एमएनडीएफ) द्वारा किया जा रहा है.