तिरुवनंतपुरम. केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान (Arif Mohammad Khan) ने मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन (Pinarayi Vijayan) को वित्त मंत्री के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. राज्यपाल ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर कहा कि वित्त मंत्री केएन बालगोपाल (KN Balagopal) को विश्वविद्यालय में हालिया टिप्पणी पर बर्खास्त किया जाए. यह बयान ऐसे वक्त में आया है जब यूनिवर्सिटी को लेकर पहले ही केरल सरकार और राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान के बीच विवाद जारी है. मुख्यमंत्री भी खुलकर राज्यपाल पर ही निशाना साध चुके हैं.
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राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने कहा कि वे वित्तमंत्री के एन बालगोपाल के पद पर बने रहने को लेकर वह ‘खुश नहीं हैं’. उन्होंने यह कहा है कि उन्हें केरल मंत्रिमंडल से हटाने के लिए कदम उठाए जाएं. मुख्यमंत्री को लिखे पत्र में राज्यपाल ने आरोप लगाया कि 19 अक्टूबर को विश्वविद्यालय परिसर में बालगोपाल ने भाषण दिया, जिसमें उन्होंने धार्मिकता और प्रांतीयता की भावनाओं को उकसाने की कोशिश की. साथ ही उन्होंने भारत की अखंडता को कमतर किया.
“Reported statements of (Kerala FM) KN Balagopal are violation of the oath I had administered to him. A minister who deliberately violates the oath & undermines the unity & integrity of India can’t continue to enjoy my pleasure,” says Kerala Gov in a letter to CM Pinarayi Vijayan https://t.co/AHGDUxd0Dp
— ANI (@ANI) October 26, 2022
राज्यपाल ने कहा कि उनके पास यह बताने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है कि वित्त मंत्री के पद पर बने रहने से वह प्रसन्न नहीं हैं. उन्होंने मुख्यमंत्री को निर्देश दिया कि वह संविधान के अनुसार मंत्री के खिलाफ कार्रवाई करें और उन्हें पद से बर्खास्त करें. रिपोर्टों के अनुसार, वित्त मंत्री केएन बालगोपाल ने एक समारोह में कहा था, “जो लोग यूपी जैसे स्थानों से आते हैं. उन्हें केरल में विश्वविद्यालयों को समझने में मुश्किल हो सकती है”. देश के अन्य हिस्सों में अधिकारियों द्वारा छात्रों पर हिंसक कार्रवाई को याद करते हुए बालगोपाल ने ये बातें कही थी.
राज्यपाल ने बालगोपाल के बयान पर कड़ी आपत्ति दर्ज करते हुए चिट्ठी में लिखा, “वित्त मंत्री केएन बालगोपाल की टिप्पणी केरल और भारतीय संघ के अन्य राज्यों के बीच एक दरार पैदा करने की कोशिश करती है. ये एक गलत धारणा पेश करती है कि भारत के विभिन्न राज्यों में उच्च शिक्षा की अलग-अलग प्रणालियां हैं.”
राज्यपाल ने आगे लिखा, “हालांकि शिक्षा मंत्री और कानून मंत्री जैसे अन्य लोग भी हैं, जिन्होंने मुझ पर हमले किए हैं. मैं उन्हें अनदेखा करना चाहता हूं, क्योंकि उन्होंने मुझे व्यक्तिगत रूप से चोट पहुंचाई है. अगर मैं बालगोपाल की देशद्रोही टिप्पणी पर संज्ञान नहीं लेता, तो यह मेरी ओर से कर्तव्य की गंभीर चूक होगी.”
इस मामले में पीटीआई के सूत्र ने बताया कि केरल के मुख्यमंत्री ने वित्तमंत्री बालगोपाल के खिलाफ संविधान के अनुसार उचित कार्रवाई करने के राज्यपाल के निर्देश को खारिज कर दिया है. वहीं, राज्यपाल की चिट्ठी के बाद सत्तारूढ़ वामपंथी छात्र विंग ने राजभवन के बाहर विरोध-प्रदर्शन किया.